रामनवमी के अवसर पर लाखों की भीड़ ने पूरे सिलीगुड़ी शहर को आराम में कर दिया हर तरफ जय श्री राम के नारे और हर तरफ लहराते हुए श्री राम के भगवा रंग के झंडों से ऐसा लग रहा था मानो हम पूरी तरह से श्री राम के रंग में रंग गए हैं। सुबह से ही पूजा अर्चना के साथ ही सिलीगुड़ी के हर छोटे-बड़े इलाकों से जुलूस निकालना है शुरू हो गए थे एक तरफ जहां बड़ी-बड़ी गाड़ियों में लोग भगवान श्री राम की मूर्ति जो अयोध्या में स्थापित की गई है रामलीला की मूर्ति ठीक वैसी ही काले पत्थर की जो मूर्ति है , वैसी ही मूर्ति को बनाकर अपने बड़ी-बड़ी गाड़ियों में लगाकर निकले। वहीं जीवंत राम सीता लक्ष्मण बनकर कहीं दिखाई दिए तो कहीं पूरी अयोध्या ही किस तरह की दिखती है ,वह बना दी गई तो कहीं घोड़े के रथ पर बैठकर दौड़ते हुए राम नजर आए। पूरा शहर ही जैसे राममय हो गया। सिलीगुड़ी में जितने भी धार्मिक संस्थाएं हैं उन सभी धार्मिक संस्थाओं की तरफ से तो बड़े-बड़े जुलूस निकाले गए वहीं पर स्थानीय लोगों ने तथा सामाजिक संस्थाओं ने भी रैलियां निकाली। सिलीगुड़ी कि हिंदू सभ्य समाज नामक संस्था ने एक विशाल रैली निकाली जिसमें भगवान श्री राम के अयोध्या में स्थित रामलला की तरह ही दिखने वाली मूर्ति लगाई गई थी। तो दूसरी तरफ वेद संस्कृति को बचाने वाली धार्मिक संस्था ने अपने जुलूस में अयोध्या मंदिर से लेकर रामलीला की मूर्ति के से लेकर जल संरक्षण की सभी झांकियां प्रस्तुत की थी। हर बार की तरह इस बार भी हर कोई राम के रंग में रमा हुआ था। बस एक ही नारा, और एक ही नाम सड़कों पर नजर आ रहा था, दिख रहा था, और सुनाई दे रहा था जय श्री राम, जय श्री राम।