नैनीताल । लोकायुक्त की नियुक्ति नहीं किये जाने के खिलाफ दायर जनहित याचिका पर न्यायालय ने सुनवाई करते हुए राज्य सरकार से चार सप्ताह में जवाब दाखिल करने को कहा है।मामले की सुनवाई चार सप्ताह बाद होगी।
इस प्रकरण की सुनवाई मुख्य न्यायधीश आरएस चौहान न्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा की खण्डपीठ में हुई। मामले को हल्द्वानी निवासी रवि शंकर जोशी की ओर से जनहित याचिका के माध्यम से चुनौती दी गयी है। याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया है कि प्रदेश सरकार की ओर से वर्ष 2013 में भ्रष्टाचार के खिलाफ एक अधिनियम लाया गया।
जिसमें भ्रष्टाचार पर लगाम लगाने के लिए लोकायुक्त की नियुक्ति का भी प्रावधान था। याचिकाकर्ता की ओर से यह भी कहा गया कि सरकार की ओर से वर्ष 2014 में इस एक्ट को वापस लेकर संसोधन कर दिया गया। सरकार की ओर से संसोधित एक्ट में प्रावधान कर दिया गया कि जिस दिन लोकायुक्त की नियुक्ति होगी उसी दिन से एक्ट प्रभावी होगा।
याचिकाकर्ता की ओर से आगे कहा गया कि आठ साल बीतने के बाद भी सरकार की ओर से लोकायुक्त की नियुक्ति नहीं की गई है। याचिकाकर्ता की ओर से यह भी कहा गया कि उसके पास उच्च न्यायालय का दरवाजा खटखटाने के अलावा कोई विकल्प नहीं है इसलिए जनहित याचिका दायर की। लोकायुक्त की नियुक्ति से प्रदेश में भ्रष्टाचार पर लगाम लग सकेगी।
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