बड़ी दुखद बात : बलात्कार और बाल यौन शोषण के मामलों में हिमालयी राज्यों में उत्तराखंड अव्वल

2020 में बलात्कार के मामले में उत्तराखंड के बाद हिमाचल प्रदेश दूसरे नंबर पर रहा

देहरादून। बड़ी दुखद बात है कि देवभूमि कहलाने वाले उत्तराखंड में देश के बाकी हिमालयी राज्यों से अधिक बलात्कार और बाल यौन शोषण के मामले सामने आए हैं। राष्ट्रीय अपराध रिकार्ड ब्यूरो के हालिया रिपोर्ट के मुताबिक नौ हिमालयी राज्यों में बलात्कार और बच्चों के यौन शोषण मामलों में उत्तराखंड सबसे आगे हैं।
अरुणाचल प्रदेश, हिमाचल प्रदेश, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, नागालैंड, सिक्किम और त्रिपुरा के मुकाबले उत्तराखंड में 2020 में बलात्कार के सबसे ज्यादा 487 मामले सामने आए।
बलात्कार के मामले में उत्तराखंड के बाद हिमाचल प्रदेश दूसरे नंबर पर रहा, जहां
331 मामले दर्ज किए गए। त्रिपुरा में 79 और मेघालय में 67 मामले सामने आए।
जबकि सबसे कम बलात्कार के मामले मिजोरम में यानी केवल 33 रहे। उत्तराखंड
बच्चों के प्रति किए जाने यौन अपराधों की सूची में भी अव्वल रहा। राज्य में 573 ऐसे
केस दर्ज किए गए।
महिलाओं के प्रति अपराधों की बात करें तो उत्तराखंड में 2018 में 2817, 2019 में
 2541और 2020 में बढकर 2846 अपराध हुए । महिलाओं के प्रति अपराध की दर
51.6 फीसद रही जबकि चार्जशीट होने की दर 79.9 फीसद रही। सूबे में एसिड
अटैक का एक मामला जबकि दहेज हत्या के 65 और पति या संबंधी द्वारा क्रूरता के
669 मामले सामने आए। महिलाओं के अपहरण के 35 मामले सामने आए।
उत्तराखंड में बलात्कार के 487 मामले सामने आए, जिनमें पांच बच्चियां थीं।
 बलात्कारियों में 93.8 फीसद पीड़ितों के जानने वाले या संबंधी थे।

2018 ,2019 के मुकाबले उत्तराखंड में हिंसक अपराध घटे

 प्रदेश में कुल हिंसक अपराधों की बात करें तो 2018 में 3137, 2019 में  2845 और 2020 में 2613 हिंसक अपराध दर्ज हुए। 2020 में  हिंसक अपराध की दर 23.1 फीसद तो आरोप पत्र दायर होने की दर 66.4 फीसद रही।   हिंसक अपराधों की बात करें तो  प्रदेश में 16 हत्याएं,  29 गैर इरादतन हत्या, एक भ्रूण हत्या,  65 दहेज हत्याएं, 186 हत्या के प्रयास, 7 गैर इरादतन हत्या के प्रयास और 79 खतरनाक हमले हुए ।
किशोरों द्वारा अपराध की बात करें तो  2018 में किशोरों ने 179, 2019 में 94 और 2020 में 77 अपराध किए। किशोरो द्वारा अपराध की दर महज दो फीसद रही।  2020 में किशोरों पर एक हत्या और दो गैर इरादतन हत्या के मामले दर्ज हुए।

 नारकोटिक्स एक्ट के तहत 1282 केस दर्ज

ड्रग्स तस्करी के मामले में एनसीआरबी के आंकड़ो से साफ है कि उत्तराखंड में ड्रग्स कारोबार भी एक बड़ी समस्या है। प्रदेश में 2020 में नारकोटिक्स एक्ट के तहत 1282 केस दर्ज हुए। हालांकि इस मामले में उत्तराखंड, हिमाचल से पीछे रहा, जहां 1538 ऐसे केस मिले। प्रदेश सरकार ने पिछले दिनों ही ड्रग तस्करी की रोकथाम के लिए  ‘एंटी ड्रग पॉलिसी’ बनाने की बात कही है।

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