देहरादून। पिथौरागढ़ के जिलाधिकारी विनोद गोस्वामी ने मीडिया से बात करते हुए बताया कि 5 वर्षों के बाद लिपुलेख से शुरू होने जा रही कैलाश मानसरोवर यात्रा को लेकर जिला प्रशासन ने सभी तैयारियां पूरी कर ली हैं। यात्रा की शुरुआत 30 जून को नई दिल्ली से होगी, जब पहला दल रवाना होगा।
इस दल का पहला रात्रि विश्राम टनकपुर में होगा, और अगले दिन वे धारचूला पहुंचेंगे, जहां से गूंजी की ओर यात्रा की जाएगी।
जिलाधिकारी ने बताया कि इस वर्ष यात्रा के दौरान, गूंजी में दो दिन रुकने की व्यवस्था की गई है, ताकि यात्री उच्च हिमालई क्षेत्र के मौसम के अनुकूल ढाल सकें। गूंजी में यात्रियों का स्वास्थ्य परीक्षण भी किया जाएगा, ताकि उनकी स्थिति का आकलन किया जा सके और कोई स्वास्थ्य समस्या उत्पन्न न हो।
कैलाश मानसरोवर यात्रा के मार्ग पर बरसात के मौसम को देखते हुए सुरक्षा को ध्यान में रखते हुए आईटीबीपी (Indo-Tibetan Border Police), सेना और एनडीआरएफ (National Disaster Response Force) की एक टीम गूंजी में तैनात की जाएगी। इससे यात्रा के दौरान सुरक्षा और आपातकालीन स्थितियों में त्वरित कार्रवाई सुनिश्चित होगी।
इसके अलावा, गूंजी में यात्रियों के इमिग्रेशन की व्यवस्था भी की गई है, ताकि सभी औपचारिकताएं सुचारू रूप से पूरी हो सकें। इस बार यात्रा में अधिक संख्या में श्रद्धालुओं के शामिल होने की संभावना है, क्योंकि 5 वर्षों के बाद यह यात्रा पुनः शुरू हो रही है।
सभी तैयारियों के बाद अब यात्रा के इच्छुक श्रद्धालुओं का इंतजार है, जो कैलाश मानसरोवर के दिव्य दर्शन के लिए इस अद्भुत यात्रा में शामिल होंगे।