नई दिल्ली। राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग (एनएचआरसी) ने उत्तर प्रदेश पुलिस और राज्य के मुख्य सचिव को 45 वर्षीय किसान की “आत्महत्या” के मामले में नोटिस जारी किया है।
पुलिस पर आरोप है कि उसने किसान को उसकी नाबालिग बेटी के अपहरण और दुष्कर्म के आरोपियों के साथ समझौता करने के लिए मजबूर किया था, जिसके बाद उसने आत्महत्या कर ली।
आयोग ने इस मामले में पुलिस और मुख्य सचिव से चार सप्ताह के अंदर रिपोर्ट देने के लिए कहा है। आयोग ने कहा कि उसने मीडिया में आई खबर का स्वतः संज्ञान लिया है, जिसके अनुसार उत्तर प्रदेश के पीलीभीत जिले में पुलिस ने एक व्यक्ति को कथित तौर पर उसकी नाबालिग बेटी के अपहरण व बलात्कार के आरोपियों से समझौता करने के लिए मजबूर किया, जिसके बाद उस व्यक्ति ने आत्महत्या कर ली।
बताया जाता है कि मृतक अनुसूचित जाति (एससी) से था। एनएचआरसी ने एक बयान में कहा, आयोग के अनुसार मीडिया में आई खबर में दी गई जानकारी यदि सत्य है तो यह मानवाधिकारों के उल्लंघन के समान है। लिहाजा उत्तर प्रदेश सरकार के मुख्य सचिव, उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक को नोटिस जारी कर चार दिन में विस्तृत रिपोर्ट पेश करने का निर्देश दिया जाता है।