रुड़की। कुरान केवल मुसलमानों के लिए ही नहीं,बल्कि पूरी मानवता की भलाई और निजात के लिए जमीन पर उतारा गया है।रहमानिया मदरसा के मुफ्ती मोहम्मद सलीम ने मोहल्ला सोत्त में शायर अफजल मंगलौरी द्वारा आयोजित ग्यारह दिन की विशेष तरावीह नमाज के मुकम्मल होने पर कहा कि सभी धर्मों की किताबों में इंसानियत,मोहब्बत,प्रेम,आपसी सहयोग,रहमदिली, और त्याग व सेवा की भावनाओं पर बल दिया गया है,इसी प्रकार कुरान शरीफ जोकि माहे रमजान में उतारा गया,में सिर्फ मुसलमानों के ही लिये नहीं,बल्कि पूरी इंसानियत और पूरी कायनात की भलाई व कामयाबी के लिए दुनिया में पैगम्बर हजरत मोहम्मद साहब के जरिए भेजा गया।कुरआन शरीफ शरीफ के जरिए हमको बताया गया कि मर्द,औरत, माता-पिता,पड़ोसी,यतीमों व गरीबों के साथ हमको कैसा व्यवहार और आचरण करना है।
इस अवसर पर मदरसा रहमानिया के सदर मौलाना अरशद कासमी ने कहा कि कुरआन मजीद इंसानों के लिए एक जाब्ता ए अखलाक (आचार संहिता) है,जिसमें अपने परिवार,अपने पड़ोसी,चाहे वह किसी भी धर्म का हो,अपने शहर व अपने देश के प्रति हम सबके कर्तव्यों का बोध कराता है।उन्होंने कहा कि रमजान का महीना रहमत,अजमत,मगफिरत और गुनाहों से तौबा करने के साथ-साथ सबकी भलाई और कल्याण का महीना है।मुफ्ती मोहम्मद सलीम ने देश में अमन-शांति,सलामती,और तरक्की की दुआ कराई।
इस मौके पर मो.कौसर एडवोकेट,हारून गौरी,वसीम सिद्दीकी,सैयद नफीसुल हसन,तारिक कमर,ओम प्रकाश सैनी गुरु जी,अताउर रहमान अंसारी, इमरान देशभक्त,फुरकान खान,जाकिर त्यागी,सलमान फरीदी,सैयद इकराम,रिहाना कमर, मास्टर हैदर खान,नवेद अरशद,शारिक कमर,हाजी लुकमान कुरैशी आदि ने शिरकत की।