लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का जैविक खेती पर खासा जोर है। तीन दिन पहले ही उच्चाधिकारियों की बैठक में उन्होंने इसकी संभावनाओं की चर्चा करते हुए इसको बढ़ावा देने के लिए बोर्ड के गठन का भी निर्देश दिया है। शासन स्तर पर अधिकारी इसकी तैयारी में जुट गए हैं।
इसके पहले भी 14 जून को उत्तर प्रदेश कृषि अनुसंधान परिषद के 33वें स्थापना दिवस पर राष्ट्रीय संगोष्ठी का वर्चुअली शुभारंभ करते हुए मुख्यमंत्री ने इसमें भाग ले रहे देश भर के वैज्ञानिकों को संबोधित करते हुए कहा था कि प्राकृतिक खेती जन, जमीन और जल के लिए सुरक्षित होने की वजह से इकोफ़्रेंडली है। ऐसी खेती गोसंरक्षण में भी मददगार है। इस अभियान से वैज्ञानिकों के जुड़ने से अन्नदाता को बहुत लाभ होगा। जैविक खेती कम लागत में अच्छा उत्पादन और विष मुक्त खेती का अच्छा माध्यम है। इससे किसानों को भी लाभ होगा।