मुंबई यूरेनियम जब्ती मामला : एनआईए ने संभाली जांच की कमान

नयी दिल्ली: मुंबई में सात किलो प्राकृतिक यूरेनियम के साथ दो लोगों को गिरफ्तार।  प्राकृतिक यूरेनियम की जांच एनआईए ने अपने हाथ में ले ली। महाराष्ट्र एंटी टेररिस्ट स्क्वायड  ने बड़ी कार्रवाई करते हुए परमाणु बम जैसा घातक विस्फोटक बनाने के काम आने वाले सात किलो यूरेनियम के साथ दो लोगों को गिरफ्तार किया था। अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी कीमत 21.30 करोड़ रुपये है। केंद्रीय एजेंसी के एक प्रवक्ता ने रविवार को यह जानकारी दी।

एनआईए ने यह कदम गृह मंत्रालय के आदेश के बाद लिया और एजेंसी ने परमाणु ऊर्जा अधिनियम, 1962 की धारा 24 (1) (ए) के तहत मामला फिर से दर्ज किया है। पांच मई की रात को जिगर जयेश पांड्या और अबु ताहिर अफजल चौधरी को गिरफ्तार कर उनके पास से 7.1 किलोग्राम यूरेनियम जब्त किया था।  जिसकी कीमत करीब 21.30 करोड़ रुपये आंकी गयी है।

एक खुफिया जानकारी के आधार पर महाराष्ट्र की एटीएस की नागपाड़ा इकाई ने 27 वर्षीय ठाणे निवासी जिगर पांड्या को अत्यधिक रेडियोधर्मी सामग्री के कुछ छोटे टुकड़ों के साथ पकड़ा था।

अधिकारी ने पहले कहा था कि जब्त यूरेनियम को विश्लेषण के लिए ट्रॉम्बे स्थित भाभा परमाणु अनुसंधान केंद्र  भेजा गया था और अनुसंधान केंद्र से प्राप्त रिपोर्ट में उल्लेख किया गया है कि पदार्थ प्राकृतिक यूरेनियम है, जो अत्यधिक रेडियोधर्मी और मानव जीवन के लिए खतरनाक है।

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