कन्याकुमारी। प्रधानमंत्री ने कांग्रेस पर निशाना साधते हुए आरोप लगाया कि यह ऐसी अहंकारी पार्टी है जो स्थानीय संवेदनाओं को नहीं समझती। प्रधानमंत्री ने साथ ही यह भी दावा किया कि उनकी सरकार लोगों की सेवा करने के मामले में जाति या धर्म नहीं देखती है। मोदी ने तमिलनाडु के कन्याकुमारी में चुनावी रैली में कहा कि द्रमुक में हालात ऐसे थे कि पार्टी के सरंक्षक दिवंगत एम करुणानिधि के साथ कंधे से कंधा मिलाकर कार्य करने वाले वरिष्ठ नेता पार्टी के नए शहजादे के चलते घुटन महसूस कर रहे थे। प्रधानमंत्री ने कहा, राजनीति इस तरह नहीं होती। आज देश का मिजाज स्पष्ट तौर पर भाई-भतीजावाद और अधिकारवाद की राजनीति के खिलाफ है।
उन्होंने कहा कि विपक्ष लोगों को लोकतंत्र-विरोधी कहना पसंद करता है लेकिन उन्हें स्वयं आईना देखना चाहिए। मोदी ने कहा कि कांग्रेस ने कई बार अनुच्छेद 356 लगाया है। द्रमुक और अन्नाद्रमुक, दोनों ही सरकारों को पूर्व में कांग्रेस द्वारा बर्खास्त किया गया है। उन्होंने आरोप लगाया कि किसी भी गठबंधन में कांग्रेस का होना एक ऐसे अहंकारी सहयोगी की तरह है, जो स्थानीय संवेदनाओं को नहीं समझता है। प्रधानमंत्री ने कहा, हमारी विचारधारा सबका साथ, सबका विकास और सबका विश्वास है और इस मंत्र के मूल में सभी के प्रति करुणा की भावना है। लोगों की सेवा करने से पहले उनकी जाति, पंथ या धर्म नहीं देखती है। हमारी सरकार सभी के लिए है। कन्याकुमारी लोकसभा सीट पर उप चुनाव छह अप्रैल को होना हैं।
गुड फ्राइडे के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने केरल में बाइबल का हवाला देते हुए सत्तारूढ़ माकपा नीत एलडीएफ और कांग्रेस नीत यूडीएफ को निशाना बनाया। उन्होंने कहा कि दोनों मोर्चा ने सत्ता के लिए लालच एवं लिप्सा सहित सात घातक पाप किए हैं। मोदी ने शुक्रवार को यहां एक चुनावी रैली में दोनों मोर्चा पर प्रहार करते हुए कहा, आप सभी ने सात घातक पाप के बारे में सुना होगा। यूडीएफ और एलडीएफ ने केरल में सात घातक पाप किए हैं। दोनों मोर्चा ने बारी-बारी से राज्य में कई वर्षों तक शासन किया है। उन्होंने सोना, डॉलर और सौर मामलों का हवाला देते हुए कहा, पहला पाप है घमंड। यूडीएफ और एलडीएफ को लगता है कि उन्हें कभी हराया नहीं जा सकता है। इससे उनके नेता काफी घमंडी हो गए हैं और अपनी जड़ों से कट गए हैं, जबकि उनका दूसरा पाप धन की लालच है।
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