नई दिल्ली। केंद्र की मोदी सरकार ने नागरिकता (संशोधन) अधिनियम यानी कि CAA को लागू कर दिया गया है। इसी बीच दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने भी CAA के मुद्दे पर बुधवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस किया और दमकर निशाना साधा हैं। बता दें कि इस कानून के माध्यम से बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान के प्रताड़ित हिंदू, सिख, जैन, बौद्ध, पारसी और ईसाइयों को भारत की नागरिकता मिलेगी।
दिल्ली के सीएम अरविंद केजरीवाल ने कहा, “ये CAA क्या है? केंद्र की बीजेपी सरकार का कहना है कि अगर तीन देशों – बांग्लादेश, पाकिस्तान और अफगानिस्तान के अल्पसंख्यक भारतीय नागरिकता लेना चाहते हैं, तो उन्हें दी जाएगी। इसका मतलब है कि बड़ी संख्या में अल्पसंख्यकों को हमारे देश में लाया जाएगा। उन्हें नौकरियां दी जाएंगी और उनके लिए घर बनाए जाएंगे। भाजपा हमारे बच्चों को नौकरी नहीं दे सकती लेकिन वे पाकिस्तान के बच्चों को नौकरी देना चाहते हैं। हमारे कई लोग बेघर हैं लेकिन बीजेपी पाकिस्तान से आए लोगों को यहां बसाना चाहती है। वे हमारी रोजगार उनके बच्चों को देना चाहते हैं। वे पाकिस्तानियों को हमारे घरों में बसाना चाहते हैं। भारत सरकार का जो पैसा हमारे परिवारों और देश के विकास के लिए इस्तेमाल होना चाहिए वह पाकिस्तानियों को भारत में बसाने के लिए इस्तेमाल किया जाएगा।”
उन्होंने दावा किया कि आने वाले चुनावों में भाजपा को फायदा होगा क्योंकि पड़ोसी देशों से भारत में बसने वाले गरीब अल्पसंख्यक उसके वोट बैंक बन जाएंगे। केजरीवाल ने कहा कि लोकसभा चुनाव से पहले सीएए लागू करना भाजपा की ”वोट बैंक की गंदी राजनीति” है। उन्होंने कहा कि देश सीएए को निरस्त करने की मांग करता है।
उन्होंने लोगों से कहा कि अगर कानून रद्द नहीं किया गया तो वे भाजपा के खिलाफ वोट करें। नागरिकता (संशोधन) अधिनियम का उद्देश्य पाकिस्तान, बांग्लादेश और अफगानिस्तान से 31 दिसंबर 2014 से पहले भारत आए उन गैर-मुस्लिम प्रवासियों को नागरिकता प्रदान करना है जिनके पास दस्तावेज नहीं है।