कोलकाता। पहले इसके सुपर साइक्लोन बनने की आशंका जतायी गयी थी। उसके बाद इसमें सुधार कर यह कहा गया कि यह सुपर साइक्लोन नहीं बनेगा और शायद पश्चिम बंगाल अथवा पड़ोसी इलाकों तक नहीं आयेगी। उस वक्त यह माना गया था कि यह चक्रवाती तूफान बनते हुए दक्षिण भारतीय समुद्री तटों की तरफ चला जाएगा। अब फिर से इस अनुमान में बदलाव किया गया है।
नई जानकारी के मुताबिक आगामी मंगल को ही यह सित्रांग नाम का अमंगल पश्चिम बंगाल और बांग्लादेश के इलाके में आ सकता है। इस बीच इस क्षेत्र के मॉनसून के बादल पूरी तरह हट गये हैं और लगभग हर इलाके में कोई बारिश नहीं हो रही है। चक्रवाती तूफान के आने से इसके प्रभाव क्षेत्र में फिर से भारी बारिश होने की चेतावनी दी गयी है।
मौसम विभाग के मुताबिक उत्तर अंडमान सागर और दक्षिण अंडमान सागर के बीच तथा दक्षिण पूर्व में बंगाल की खाड़ी में निम्न दबाव का इलाका बन गया है। जिस तरीके से वहां का माहौल दिख रहा है, उसके मुताबिक यह चक्रवाती तूफान में तब्दील हो सकता है।
सोमवार को यह स्थिति पूरी तरह स्पष्ट हो जाएगा। चक्रवाती तूफान बन जाने के बाद यह अपने वर्तमान क्षेत्र से पश्चिम और उत्तर पश्चिम की तरफ बढ़ सकता है। यह पश्चिम बंगाल और बांग्लादेश का इलाका है। 22 अक्टूबर तक गति बढ़ाने के बाद यह 23 अक्टूबर को आगे बढ़ने लगेगा।
इसी वजह से यह माना जा रहा है कि जिन इलाकों पर इस चक्रवाती तूफान का प्रभाव होगा, उनमें उड़ीसा का थोड़ा सा हिस्सा होगा। उत्तर की तरफ अगर यह बढ़ा तो जाहिर तौर पर यह पश्चिम बंगाल के पास के गुजरता हुआ बांग्लादेश को भी अपनी चपेट में लेगा। इस हिसाब से यह चक्रवाती तूफान 25 अक्टूबर को अपने चरम पर होगा और इसके प्रभाव से कई राज्यों में तेज बारिश होगी। इसलिए आगामी मंगलवार को ही इस अमंगलकारी तूफान का कहर इन इलाकों में देखने को मिलेगा।