गहलौत विधायकों ने दिए सामूहिक इस्तीफा

जयपुर। राजस्थान की राजनीति में एक बार फिर उथल-पुथल शुरू हो गई है। कांग्रेस अध्यक्ष पद के लिए मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के नामांकन भरने की तैयारी के बीच भावी मुख्यमंत्री के लिए रस्सा-कस्सी चल रही है। गहलोत की जगह नये मुख्यमंत्री के रूप में हाईकमान की पसंद सचिन पायलट हैं, लेकिन गहलोत खेमा पायलट के नाम पर नाराज है।

कांग्रेस विधायक दल की बैठक से पहले ही गहलोत गुट के करीब 82 विधायकों के विधानसभा अध्यक्ष डॉ. सीपी जोशी को इस्तीफे सौंपने की सूचना है। इसकी अधिकारिक पुष्टि नहीं हो पाई है। उधर, मुख्यमंत्री निवास पर आयोजित विधायक दल की बैठक में गहलोत समर्थक विधायक नहीं पहुंचे। इसके बाद बैठक को रद्द करना पड़ा।

बैठक रद्द होने के बाद ताजा घटनाक्रम को लेकर मुख्यमंत्री निवास में बैठक हो रही है। बैठक में अजय माकन, मल्लिकार्जुन खड़गे, गहलोत, पायलट, रघु शर्मा और कुछ वरिष्ठ मंत्री मौजूद हैं। सूत्रों के अनुसार बैठक में गहलोत खेमे के विधायकों को मनाने और उनकी बात सुनने पर चर्चा की जा रही है। उधर, गहलोत समर्थक विधायक भी एक एककर मुख्यमंत्री निवास पहुंचने लगे है।

सूत्रों के अनुसार कांग्रेस हाईकमान ने मुख्यमंत्री अशोक गहलोत, पूर्व उपमुख्यमंत्री सचिन पायलट, अजय माकन और मल्लिकार्जुन खड़गे को दिल्ली तलब किया है। केसी वेणुगोपाल ने दोनों को फोन कर सोनिया गांधी और राहुल गांधी का यह मैसेज दिया है। हालांकि देर रात अजय माकन ने कहा कि हम दिल्ली नहीं जा रहे हैं। एक-एक विधायक से बात कर रहे हैं।

इनसे पहले सचिन पायलट अपने समर्थक विधायकों के साथ विधायक दल की बैठक के लिए मुख्यमंत्री निवास पहुंचे थे लेकिन देररात बैठक नहीं होने की स्थिति में वे वहां से चले गए। इसके पहले मुख्यमंत्री अशोक गहलोत प्रदेश प्रभारी अजय माकन और ऑब्जर्वर मल्लिकार्जुन खड़गे से मिलने होटल पहुंचे। छोटी सी मुलाकात के बाद तीनों मुख्यमंत्री निवास पहुंचे लेकिन कई विधायकों के नहीं पहुंचने से बैठक रद्द हो गई।

मंत्री प्रताप सिंह खाचरियावास ने कहा कि सभी विधायक नाराज हैं। इसलिए वे विधानसभा अध्यक्ष के पास इस्तीफा देने पहुंच गए हैं। सरकार जब संकट में थी, उस वक्त सभी ने सरकार का साथ दिया लेकिन अब विधायकों की नहीं सुनी जा रही है। इसलिए विधायक नाराज हैं।

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