स्पेक्स संस्था की जल गुणवत्ता रिपोर्ट में हुआ खुलासा, पीने लायक नहीं पानी , क्लोरीन की मात्रा अधिक 

आमजन ही नहीं नेताओं व अफसरों के घर भी शुद्ध पानी की सप्लाई नहीं

देहरादून । राजधानी देहरादून में अधिकांश क्षेत्रों में पेयजल की जो आपूर्ति हो रही है वह पीने योग्य है ही नहीं। आमजन तो छोड़िए, नेता और अफसरों के घरों में भी शुद्ध पेयजल नहीं पहुंच पा रहा है। इसका खुलासा स्पेक्स संस्था की जल गुणवत्ता रिपोर्ट में हुआ।

संस्था से जुड़े वैज्ञानिकों व स्वयंसेवियों ने शहर में अलग-अलग स्थानों से पानी के 9७ नमूने एकत्र किए। प्रयोगशाला जांच में इनमें से 9२ सैंपल फेल पाए गए हैं। कहीं पानी में क्लोरीन की मात्रा अधिक मिली तो कहीं अवशोषित क्लोरीन व शरीर को नुकसान पहुंचाने वाले तत्वों की मौजूदगी।
संस्था के सचिव डा. बृजमोहन शर्मा ने बुधवार को प्रेस क्लब में आयोजित पत्रकार वार्ता में जल गुणवत्ता की रिपोर्ट जारी की। बताया कि स्पेक्स संस्था की ओर से गत मई से जून तक नगर निगम क्षेत्र के अंतर्गत 70 इलाकों और उससे जुड़ी बस्तियों में पीने के पानी के सैंपल एकत्र कर उनका परीक्षण किया गया। 97 स्थानों में पेयजल के नमूने लिए गए जिनमें से 92 नमूने पीने योग्य नहीं पाए गए।

मंत्री, विधायक व अधिकारियों के घर से लिए गए पानी के सैंपल में भी क्लोरीन की मात्रा अधिक पाई गई। कुछ सैंपल में कई गुणा अधिक अवशोषित क्लोरीन पाया गया। बताया कि टीम ने सचिवालय, जिलाधिकारी आवास के अलावा कैबिनेट मंत्री गणेश जोशी, सतपाल महाराज, विधायक खजानदास, विनोद चमोली, भाजपा नेता विनय गोयल आदि के घरों से भी पीने के पानी के सैंपल लिए।

अधिकांश सैंपल परीक्षण में फेल मिले। यानी इन वीआईपी के घरों में पीने का जो पानी सप्लाई हो रहा है वह भी पीने योग्य नहीं है। पचास सैंपलों में क्लोरीन की मात्रा अधिक पाई गई। इंदर रोड, मद्रासी कॉलोनी, टपकेश्वर मार्ग, पटेल नगर व कैनाल रोड में सप्लाई हो रहे पेयजल में कलोरीन की मात्रा मानकों के अनुरूप पाई गई।

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