देहरादून। प्रदेश के लोक निर्माण, पर्यटन, सिंचाई, लघु सिंचाई, पंचायतीराज, संस्कृति, धर्मस्व, ग्रामीण निर्माण, जलागम प्रबंधन मंत्री सतपाल महाराज ने सोमवार को अपने अधीनस्थ विभिन्न विभागों की समीक्षा बैठक कर कार्यों की प्रगति, गुणवत्ता और उनकी समयबद्ध को लेकर अधिकारियों को आवश्यक दिशा निर्देश देने के साथ-साथ चेतावनी दी कि विभागीय कार्यों में किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
प्रदेश के लोक निर्माण, पर्यटन, सिंचाई, लघु सिंचाई, पंचायतीराज, संस्कृति एवं धर्मस्व, मंत्री सतपाल महाराज ने सोमवार को गढ़ी कैंट स्थित पर्यटन मुख्यालय में अपने अधीनस्थ पर्यटन, संस्कृति, लोक निर्माण एवं सिंचाई विभागों के अधिकारियों की समीक्षा बैठक पूर्व में दिए गए दिशा-निर्देशों की प्रगति की जानकारी लेने के साथ-साथ मानसून की दृष्टि से पूर्व निर्धारित तैयारियों का जायजा लिया और चेतावनी दी कि विभागीय कार्यों में किसी भी तरह की लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी।
कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज ने पर्यटन अधिकारियों को निर्देश दिए कि जहां रोप वे संभव नहीं है वहां पर फर्नाकुलर रेल की संभावना पर कार्य किया जाए।
फ्लोटिंग हाउस के निर्माण की दिशा में कार्य करने के अलावा होमस्टे का व्यापक प्रचार प्रसार किया जाए विंटर टूरिज्म को बढ़ावा दिया जाए और स्टाइल सुपरमॉडल बनाया जाए। निर्माणाधीन शौचालयों में अंकित के तौर पर लाटा-लाटी का प्रयोग किया जाए।
महाराज ने अधिकारियों से कहा कि महाभारत सर्किट के अंतर्गत कैरावन, कैरावन पार्किंग के लिए यदि भूमि को लीज पर लेने की आवश्यकता है तो लिया जाए।
उन्होंने त्रिजुगीनारायण को वेडिंग डेस्टिनेशन के रूप में विकसित करने की भी बात कही। पर्यटन सचिव को निर्देशित कर उन्होंने कहा कि सतपुली एवं स्यूंसी का कांसेप्ट नोट 15 दिन के अंदर अंदर तैयार सिंचाई विभाग को उपलब्ध करवाया जाए।
समीक्षा बैठक के दौरान सिंचाई मंत्री सतपाल महाराज ने सिंचाई विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए कि मानसून से पूर्व सभी नदियों की ड्रेजिंग करवाने के साथ-साथ बाढ़ चौकियां स्थापित कर लोगों को बाढ़ संबंधित जानकारी की पूर्व सूचना देने की उचित व्यवस्था की जाए।
लोक निर्माण मंत्री सतपाल महाराज ने लोनिवि अधिकारियों को आदेश दिए कि मानसून तैयारियों के संबंध में आवश्यक कार्य योजना तैयार कर उन पर तुरंत कार्य किया जाए।
उन्होंने लोक निर्माण विभाग द्वारा वर्तमान में बड़ी योजनाओं पर किए जा रहे कार्य की प्रगति की जानकारी लेने के साथ-साथ राष्ट्रीय राजमार्गों में नाली के ऊपर बनाए गए फुटपाथ ओं में पानी की निकासी ना होने पर दोषियों के विरुद्ध कार्यवाही के भी निर्देश दिए।
उन्होंने लोक निर्माण विभाग को सड़कों की गुणवत्ता की जांच के लिए एक जांच कमेटी गठित करने के भी निर्देश दिए। महाराज ने कहा कि प्रत्येक डायवर्जन के समीप डायरेक्शन बोर्ड लगाए जाएं।
संस्कृति मंत्री महाराज ने संस्कृति विभाग के अधिकारियों द्वारा सांस्कृतिक कलाकारों को पहचान पत्र जारी करने के आदेश संबंधित प्रगति की जानकारी के अलावा संस्कृति विभाग के गढ़ी कैंट में निर्माणाधीन ऑडिटोरियम स्थिति की भी समीक्षा की।
उन्होंने भविष्य में ढोल दमाऊ कार्यक्रम कराए जाने की रूपरेखा तथा तिथि के निर्धारण से संबंधित आदेश भी अधिकारियों को दिए।
श्री महाराज ने कहा कि उत्तराखंड में ललित कला साहित्य कला संगीत नाटकीय कला खोलने हेतु भारत सरकार को शीघ्र प्रस्ताव भेजा जाए। उन्होंने कहा कि आजादी के अमृत महोत्सव के तहत संस्कृति विभाग विभिन्न स्थानों पर सांस्कृतिक कार्यक्रमों को किए जाने की यथाशीघ्र व्यवस्था सुनिश्चित करें।
उन्होंने संस्कृति विभाग के अधिकारियों को आदेश दिए कि आजादी के अमृत महोत्सव के मौके पर गढ़वाली, कुमाऊनी एवं जौनसारी गीतों को तैयार करवा सर्वश्रेष्ठ गीतों के लिए प्रथम पुरस्कार ₹200000 द्वितीय पुरस्कार ₹100000 एवं तृतीय पुरस्कार ₹50000 गीतकारों को दिए जाने का प्रावधान किया जाए।
समीक्षा बैठक में पर्यटन सचिव दिलीप जावलकर, विवेक चौहान अश्वनी पुंडीर, संस्कृति महानिदेशक रणवीर सिंह चौहान, निदेशक बीना भट्ट, एचओडी सिंचाई मुकेश मोहन एवं लोक निर्माण विभाग के एचओडी अयाज अहमद सहित अनेक अधिकारी उपस्थित थे।