झांसी। उत्तर प्रदेश में झांसी जनपद की टहरौली तहसील में मंडलायुक्त डॉÞ अजयशंकर पांडेय ने गलत वरासत दर्ज कराने वाले लेखपाल के खिलाफ कड़ी कार्रवाई करते हुए एफआईआर (प्राथमिकी) दर्ज कराने के निर्देश दिये।
मंडलायुक्त ने पुलिस उपमहानिरीक्षक झांसी जोगेंद्र कुमार के साथ यहां टहरौली तहसील में संपूर्ण समाधान दिवस में शिरकत की। इस दौरान उनके समक्ष चतुर्भुज नाम के एक व्यक्ति ने लेखपाल के खिलाफ गलत वरासत दर्ज कराने की शिकायत की ।
चतुर्भुज पुत्र नथू दागी निवासी ग्राम बिजना तहसील टहरौली ने बताया कि वह जीवित है किन्तु उसके हिस्से की भूमि संख्या 89च रकवा 0.049080 स्थित ग्राम बासर तहसील टहरौली को गांव के दूसरे समनाम के व्यक्ति (श्री चतुर्भज पुत्र नधु अहिरवार) के नाम वरासतन दर्ज कर दी गयी है, जबकि प्रार्थी वर्तमान में जीवित है वह जाति का ठाकुर है और मृतक व्यक्ति चतुर्भुज जाति का अहिरवार था। उक्त शिकायत प्राप्त होने पर मण्डलायुक्त द्वारा सख्त नाराजगी जाहिर करते हुए इस प्रकरण की तत्काल जांच कराने एवं जांचोपरात दोषी पाये जाने पर उत्तरदायी लेखपाल के विरूद्ध प्राथमिकी दर्ज कराने निर्देश उपजिलाधिकारी को दिये गये।
एक अन्य मामले में श्रीमती मानकुवर पूर्व प्रधान पत्नी श्री हरसहाय निवासी ग्राम नोटा द्वारा अवगत कराया गया कि उनके गांव में ग्रामसभा की भूमि संख्या – 1456 के 15 गुणा 13 वर्ग फीट पर दबंग व्यक्ति मलखान ंिसह पुत्र भांदलाल व मलखान के पुत्र छत्रसाल उर्फ मुनमुन व महेन्द्र पाल ने वर्ष 2015 में अवैध कब्जा कर मकान बना लिया था, जिसका मुकदमा तहसीलदार, टहरौली के न्यायालय अंतर्गत धारा 67 उप्र राजस्व संहिता के अंतर्गत ग्राम सभा बनाम मलखान सिंह चला था, जिसमें दिनांक 27 सितंबर 2017 को विरोधियों के खिलाफ बेदखली का आदेश पारित किया गया था किन्तु अभी तक उक्त जमीन को खाली नहीं किया गया है।
उक्त शिकायत पर भी मंडलायुक्त ने गहरी नाराजगी जाहिर करते हुये तहसीलदार टहरौली को निर्देशित किया गया कि स्वयं मौके पर जाकर नियमानुसार कानूनी कार्रवाई करते हुए 03 दिन के भीतर अवगत कराये तथा अवैध अतिक्रमणी के खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई भी सुनिश्चित की जाय। मण्डलायुक्त ने बताया कि वर्तमान समय में खेत खाली हैं तथा जमीन सम्बन्धी विवादों को निपटाने के लिये यह सर्वोत्तम अवसर है।
सम्पूर्ण समाधान दिवस में दिनांक 21-4-2022 को तहसील टहरौली में कुल 127 शिकायतें प्राप्त हुई, जिसमें से 70 शिकायत राजस्व विभाग एवं 21 शिकायत पुलिस विभाग तथा अन्य 36 शिकायतें अन्य विभागों की प्राप्त हुथी, जिसमें से अधिकांश शिकायतें जमीन से संबंधित विवादों की प्राप्त हुई जिसमें से सर्वाधिक शिकायतें चकरोड़, नाली से या अन्य सार्वजनिक जमीनों पर अवैध कब्जे से सम्बन्धित प्राप्त हुई।
समय से हृदबन्दी की कार्रवाई भी पूर्ण न करने के सम्बन्ध में कतिपय व्यक्तियों द्वारा अवगत कराया गया। इस दौरान मंडलायुक्त ने यह भी निर्देश दिये कि एक अभियान चलाकर चकरोड़, नाली या अन्य सार्वजनिक जमीनों पर अवैध कब्जे को हटवाकर अतिक्रमणियों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई सुनिश्चित करायी जाय तथा सभी चकराड़ों को अतिक्रमणमुक्त कराकर खाली कराये गये चकरोड पर ग्राम प्रधान / विकास विभाग / पंचायत विकास के माध्यम से मिट्टी डलवाकर सुरक्षित करवाया जाय ताकि पुन: अतिक्रमण की संभावनायें न रह जाय। उन्होंने हदबंदी की साप्ताहिक प्रगति रिपोर्ट भी भिजवाने के लिए मंडल के तीनों जिलाधिकारियों को पत्र जारी करने के निर्देश दिये।