ग्राम स्वराज योजना से गांवों का होगा विकास : गिरिराज सिंह

राज्यों की जरूरत के हिसाब से बनेगी परियोजना : हरि चंद्र सेमवाल

देहरादून । ग्राम्य स्वराज योजना (आरजीएसए ) के मसौदा को राष्ट्रीय समिति ने अंतिम रूप दे दिया है। इससे गांव के लोगों को काफी फायदा होगा। यह बात केंद्रीय पंचायतीराज मंत्री गिरिराज सिंह ने उत्तराखंड सहित अन्य राज्यों से आए वरिष्ठ अधिकारियों के साथ विशेष चर्चा के दौरान यह बात कही।

इस दौरान आरजीएसए के चेयरमैन तथा उत्तराखंड महिला सशक्तिकरण एवं बाल विकास के सचिव हरि चंद्र सेमवाल ने केंद्रीय पंचायती राजमंत्री गिरिराज सिंह एवं केंद्रीय पंचायती राज्य मंत्री मोरोश्वर कपिल पाटिल को गंगाजलि भी भेंट किया।

इस मौके पर केंद्रीय पंचायतीराज मंत्री ने कहा कि पूरे देश में ग्राम्य स्वराज की 5911 करोड़ की लागत की योजना शुरू की जाएगी। इसके पहले पंचायतीराज मंत्रालय में ग्राम स्वराज अभियान योजना ( आरजीएसए) की महत्वपूर्ण बैठक संपन्न हुई जिसमें कई महत्वपूर्ण बिन्दुओं पर चर्चा हुई।

ग्राम्य स्वराज योजाना के चेयरमैन हरि चंद्र सेमवाल ने बताया कि योजना के मसौदा तथा क्रियान्वयन को लेकर राष्ट्रीय समिति के सदस्यों के साथ मंथन किया गया। इस योजना को लेकर ग्रामीणों की आय बढ़ाने के मकसद भी विचार-विमर्श किया गया। ऐसी स्थिति में राज्यों को विशेष छूट देने पर भी सहमति बनी है।

सेमवाल ने बताया कि बैठक में यह भी तय किया गया कि राज्यों की आवश्यकताओं के हिसाब से परियोजना को अंतिम रूप दिया जाएगा। उन्होंने कहा कि रिसर्च और प्रसार पर ज्यादा जोर दिया जाएगा।

ताकि गांव के हर व्यक्ति तक इस महत्वपूर्ण योजना का लाभ मिले। योजना के अंतर्गत ई- लाइब्रेरी स्थापित होगा। साथ ही कामन सर्विस सेंटर को पंचायत भवन से जोड़ा जाएगा।

इसके अलावा इस पर विचार किया गया कि देश के प्रतिष्ठित संस्थानों जैसे आईआरएमए,टीआईएसएस,एनआईआरडीपीआरतथा आईआई एमएस से युवाओं को इसमें शामिल किया जाए। राष्ट्रीय समिति के सदस्यों का मानना है कि नयी टेक्नालाजी का भी इसमें इस्तेमाल किया जाना चाहिए।

इससे काफी लाभ मिलेगा। शोध पर भी विशेष फोकस देने पर जोर दिया गया। बृहस्पतिवार को बैठक के अंतिम दिन प्रदेश से मोहित चौधरी के अलावा मध्यप्रदेश तथा उड़ीसा सहित अन्य राज्यों के वरिष्ठ अधिकारी भी मौजूद थे।

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