मुंबई। आरबीआई ने फीचर फोन के जरिए बिना इंटरनेट कनेक्शन के डिजिटल भुगतान की सुविधा शुरू की है। आम लोगों को भी अब डिजिटल लेन देन में सुविधा मिलेगी।
आरबीआई गवर्नर डॉ. शक्तिकांत दास ने यूपीआई123 पे नाम की इस सुविधा का उद्घाटन किया जिसके अंतर्गत ग्राहक तीन चरण के प्रक्रिया अपनाते हुए सुरक्षित तरीके से डिजिटल भुगतान कर सकते हैं। इस सुविधा से देश में स्मार्ट फोन और समान्य फोन का उपयोग करने वाले ग्राहक डिजिटल लेन-देन की सुविधा के अवसर के मामले में बराबरी पर आ गए हैं और इससे भारत में डिजिटल अर्थव्यवस्था को और अधिक प्रोत्साहन मिलेगा।
40 करोड़ लोगों को मिलेगी सुविधा का लाभ
इस सुविधा के शुरू होने से देश में उन 40 करोड़ लोगों को डिजिटल भुगतान की सुविधा मिल सकती है जो अभी फीचर फोन का ही इस्तेमाल करते हैं। आरबीआई गवर्नर ने नयी यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (यूपीआई) सेवा को जारी करते हुए कहा कि डिजिटल भुगतान प्रणाली को प्रोत्साहित करने के लिए केंद्रीय बैंक द्वारा पिछले तीन सालों में 50 कदम उठाए गए हैं।
इनमें विभिन्न प्रणालियों के बीच संयोजन टोकनीकरण, कार्डों पर स्विच आन-आफ सुविधा, पूरी ना होने वाले सौदों के पलटने के समय अवधि घटाने और आरटीजीएस एवं एनईएफटी जैसी सुविधाओं को सातों दिन, चौबीसों घंटे करने जैसी पहल शामिल हैं।
डॉ. दास ने कहा, ‘‘पिछले कुछ वर्षों में भारत की डिजिटल अर्थव्यवस्था का तेजी से विस्तार हुआ है। इस सफलता में यूपीआई की बड़ी भूमिका रही है, जिसमे फरवरी 2022 में 8.26 लाख करोड़ रुपए के 453 करोड़ सौदे हुए हैं। यह संख्या बीते वर्ष इसी माह की तुलना में दोगुनी है।
उन्होंने कहा, हमें उम्मीद है कि अब वो दिन दूर नहीं जब हम सभी सेवा एवं समाधान प्रदाताओं, एनपीसीआई(नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन आफ इंडिया) और रिजर्व बैंक के अपने साथियों के सहयोग से यूपीआई पर 100 लाख करोड़ रुपए के लेनदेन के लक्ष्य तक पहुंच चुके होंगे।
भारत में 118 करोड़ मोबाइल फोनधारक हैं, इनमें से 74 प्रतिशत स्मार्ट फोन वाले हैं। स्मार्ट फोन रखने वाले इंटरनेट के जरिए विभिन्न प्रकार की डिजिटल सेवाओं का लाभ उठा रहे हैं, जबकि फीचर फोन पर इसके विकल्प सीमित हैं।
इस नयी सेवा के उद्घाटन के अवसर पर आरबीआई के डिप्टी गवर्नर टी रबि शंकर ने कहा कि पहले भी फीचर फोन से डिजिटल भुगतान किया जा था, लेकिन उसकी प्रक्रिया उबाऊ थी इसलिए वह लोकप्रिय नहीं हो सकी थी।
उन्होंने कहा कि आज शुरू की गयी सेवा ‘यूपीआई123पे’ में चार अलग-अलग तकनीके अपनायी गयी हैं। जिसमें आईवीआर (फोन से मौखिक निर्देश), एप जैसे कार्य, नजदीक से आवाज के आधार पर भुगतान और मिस्ड कॉल का तरीका शामिल है।
इसके साथ ही गवर्नर ने आज ‘डिजिसाथी’ नाम से एक ओर सेवा जारी की है, जो उपभोक्ताओं को डिजिटल भुगतान, उत्पादों और सेवाओं की जानकारी के लिए चौबीसों घंटे उपलब्ध हेल्पलाइन है।