नैनीताल । उत्तराखंड उच्च न्यायालय ने दक्षिणी काशीपुर सहकारी समिति द्वारा उपभोक्ताओं की धनराशि वापस नहीं किये जाने के मामले में दायर जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए बुधवार को अपने महत्वपूर्ण आदेश में समिति को दो सप्ताह में उपभोक्ताओं को धनराशि वापस करने के निर्देश दिये हैं।
साथ ही राज्य सरकार को भी इस आदेश का अनुपालन सुनिश्चित कराने को कहा है। मुख्य न्यायाधीश विपिन सांघी व न्यायमूर्ति आलोक कुमार वर्मा की युगलपीठ में काशीपुर निवासी अकरम अली की ओर से दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई। याचिकाकर्ता की ओर से कहा गया कि दक्षिणी काशीपुर सहकारी समिति में 2092 उपभोक्ताओं की धनराशि जमा है। पूर्व में अदालत ने सभी लोगों के पैसे वापस करने के निर्देश दिये थे।
समिति की ओर से इस मामले में समाचार पत्रों में नोटिस जारी किया गया लेकिन कोरोना महामारी के चलते उपभोक्ता समाचार पत्रों में प्रकाशित सूचना से अवगत नहीं हो पाये। जिसके चलते आज भी जमाकर्ताओं की धनराशि समिति में जमा है। मात्र 53 जमाकर्ताओं को धनराशि का भुगतान किया गया है।
याचिकाकर्ता की ओर से गड़बड़ी की आशंका जताते हुए इस प्रकरण की जांच कर आरोपियों के खिलाफ कार्यवाही करने की मांग की गयी। अंत में अदालत ने सहकारी समिति को निर्देश दिये कि दो सप्ताह के अदंर सभी उपभोक्ताओं को नोटिस जारी कर उनकी जमा राशि को वापस कराये। साथ ही सरकार को भी अदालत के आदेश का अनुपालन सुनिश्चित कराने को कहा है।