देहरादून ।राज्यपाल/कुलाधिपति राज्य विश्वविद्यालय लेफ्टिनेंट जनरल गुरमीत सिंह (से नि) ने राजभवन में समस्त राज्य विश्वविद्यालयों की बैठक ली।
बैठक में उन्होंने विश्वविद्यालयों को स्वायत्तता, पारदर्शिता के साथ-साथ जवाबदेही पर विशेष ध्यान देने के निर्देश दिए। उन्होंने विश्वविद्यालयों में नियुक्तियों तथा कार्य परिषदों की बैठकों में पूर्ण पारदर्शिता बरतने के निर्देश दिए।
उन्होंने कहा कि कॉलेजों की संबद्धता के मामलों में निर्धारित मानकों के अनुरूप गहन परीक्षण के उपरान्त ही राजभवन को प्रेषित किए जाएं।
राज्यपाल ने कहा कि सभी विश्वविद्यालय अपनी उपलब्धियों, बेस्ट प्रैक्टिस आदि की मासिक रिपोर्ट राजभवन को भेजना सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय में आन्तरिक समस्याओं के समाधान कुलपति स्तर पर ही खोजे जाएं और विश्वविद्यालयों में सहयोगपूर्ण वातावरण को बढ़ावा दिया जाय। उन्होंने सभी कुलपतियों से कहा कि विश्वविद्यालय के लिए सी.एस.आर(CSR) और एल्युमनाई(Alumni) स्कॉलरशिप की संभावनाओं की तलाश करें।
बैठक में निर्णय लिया कि अब राजभवन में विश्वविद्यालयों के नवनियुक्त कुलपतियों का शपथ ग्रहण कार्यक्रम आयोजित किया जायेगा। इससे पूर्व कुलपतियों का शपथ ग्रहण आयोजित नहीं किया जाता था।
उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय को शिक्षा व्यवस्था विद्यार्थी केन्द्रित किये जाने का प्रयास करना चाहिए। छात्रों का सर्वांगीण विकास एवं शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार हमारा लक्ष्य होना चाहिए।
बैठक में उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय द्वारा गोद लिए गए गाँव में विकास कार्यों की अद्यतन जानकारी लें और इन गांवों को मॉडल गाँव के रूप में विकसित किया जाए।
राज्यपाल ने कहा कि शोध एवं तकनीक सही मायनों में तभी उपयोगी है जब उसका लाभ लोगों को मिले। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय की कार्यप्रणाली को जानने के लिए स्वयं विश्वविद्यालयों का भ्रमण करेंगे।
उन्होंने कहा कि माननीय प्रधानमंत्री ने कहा था कि 21वीं सदी का तीसरा दशक उत्तराखण्ड का होगा। इस कहावत का चरितार्थ करने में विश्वविद्यालयों की अहम भूमिका रहेगी। विश्वविद्यालय अपने अकादमिक ज्ञान, अनुसंधान और टेक्नोलॉजिकल रिसर्च के माध्यम से विकसित उत्तराखण्ड के लिए कार्य करें।
बैठक में विश्वविद्यालयों के कुलपतियों ने अपने-अपने विश्वविद्यालय की संबद्धता के मामलों, विभिन्न नियुक्तियों में पारदर्शिता, वर्षा जल संरक्षण, ई-ऑफिस, स्वच्छता अभियान सहित अन्य कार्यों की विस्तृत जानकारी राज्यपाल को उपलब्ध करायी। इस दौरान कुलपतियों द्वारा विभिन्न समस्याओं एवं चुनौतियों से भी अवगत कराया गया जिस पर राज्यपाल द्वारा उचित समाधान का आश्वासन दिया।
इस बैठक में सचिव राज्यपाल डॉ. रंजीत कुमार सिन्हा, सचिव रविनाथ रामन, सचिव डॉ. बी.वी.आर.सी पुरूषोत्तम, सचिव डॉ. पंकज कुमार पाण्डेय, सचिव(प्रभारी)डॉ.आर राजेश कुमार, विधि परामर्शी राज्यपाल अमित कुमार सिरोही, अपर सचिव श्रीमती स्वाती एस.भदौरिया, कुलपति उत्तराखण्ड मुक्त विश्वविद्यालय डॉ.ओ.पी.एस नेगी, कुलपति श्रीदेव सुमन विश्वविद्यालय डॉ. पी.पी. ध्यानी, कुलपति जी.बी.पंत कृषि एवं प्रौद्योगिकी विश्वविद्यालय डॉ. मनमोहन चौहान, कुलपति उत्तराखण्ड तकनीकी विश्वविद्यालय प्रो. ओमकार सिंह, कुलपति आयुर्वेदिक विश्वविद्यालय प्रो. सुनील कुमार जोशी, कुलपति उत्तराखण्ड संस्कृत विश्वविद्यालय प्रो. दिनेश चंद्र शास्त्री, कुलपति चिकित्सा शिक्षा विश्वविद्यालय प्रो.हेमचन्द्र, कुलपति कुमाऊँ विश्वविद्यालय डॉ.एन.के.जोशी आदि उपस्थित रहे।