देहरादून। पूर्व सीएम त्रिवेन्द्र सिंह रावत को गणेश जी ने दर्शन दिए। त्रिवेंद्र सिंह रावत का काफिला पौड़ी से सतपुली होते हुए कोटद्वार आ रहा था। शाम के करीब पांच से छह बजे के बीच कोटद्वार-दुगड्डा के बीच टूट गदेरे के पास अचानक एक हाथी जंगल से निकलकर सड़क पर आ गया। इसके कारण पूर्व मुख्यमंत्री का काफिला करीब आधा घंटा रुका रहा।
दुगड्डा के रेंज अधिकारी प्रदीप डोबरियाल ने बताया कोटद्वार-दुगड्डा के बीच का इलाका शिवालिक हाथी कोरिडोर क्षेत्र में पड़ता है। यहां अक्सर हाथी हाईवे पर आ जाते हैं। बुधवार शाम बजे पूर्व सीएम के काफिले के सामने एक हाथी आ गया था।
इसकी सूचना मिलते ही तत्काल वन कर्मियों को भेजा गया। हवाई फायर कर हाथी को जंगल में खदेड़ दिया गया है। इस दौरान करीब आधा घंटा तक हाईवे जाम रहा।
वहीं कुछ लोग इस घटना को धार्मिक आस्था से जोड़कर देख रहे हैं। उनका कहना है कि हाथी के रूप में गणेश जी ने पूर्व सीएम त्रिवेन्द्र रावत को साक्षात दर्शन दिए हैं।
पूर्व सीएम त्रिवेन्द्र रावत के पार्टी हाईकमान से मुताकाल के बाद से ही सियासी गलियारों में चर्चाओं का बाजार गर्म है। हालांकि त्रिवेन्द्र रावत ने इस मुलाकात को शिष्टाचार भेंट बताया। उसके बाद वे गढ़वाल भ्रमण पर निकल पड़े। इस दौरान वह सोशल मीडिया के जरिए लोगों को धार्मिक स्थलों के बारे में बताते नजर आए। तो कहीं, भुट्टे खाकर ठेठ गढ़वाली में लोगों से बतिया दिखाई दिए।
राजनैतिक जानकार त्रिवेंद्र के इस भ्रमण को आने वाले लोकसभा चुनाव में पौड़ी सीट से उनके चुनाव लड़ने की तैयारियों के तौर पर देख रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक उन्होंने खुद भी कहा कि, उनके शुभ चिंतक और कार्यकर्ता चाहते हैं कि वह लोकसभा का चुनाव लड़ें।